उत्तराखंड के नैनीताल में स्लॉटर हाउस को बंद करने का मामला हाई कोर्ट पहुंच गया है, दरअसल या मामला उत्तराखंड के मुस्लिम बोर्ड की याचिका पर शुरू हुआ है मुस्लिम बोर्ड की याचिका के द्वारा हाईकोर्ट में एक अपील की गई है जिसमें नैनीताल के स्लॉटर हाउस को खोलने के बारे में अपील की गई है।
मुस्लिम बोर्ड की याचिका पर सुनवाई हाईकोर्ट ने कहा, कानून के दायरे में लें निर्णय
दरअसल उत्तराखंड के नैनीताल में बंद पड़े कसाईखाने को फिर से शुरू करने की मांग को लेकर मुस्लिम बोर्ड द्वारा दायर याचिका पर हाईकोर्ट ने एक महत्वपूर्ण फैसला सुनाया है। कोर्ट ने नैनीताल के जिलाधिकारी को निर्देश दिए हैं कि वह मामले की जांच कर कानूनी और प्रशासनिक प्रक्रिया के तहत उचित निर्णय लें, मुस्लिम बोर्ड का कहना था कि पूर्व में संचालित कसाईखाना पूरी तरह से वैध था और सभी नियमों का पालन भी करता था। लेकिन वर्षों से यह बंद पड़ा है जिससे मुस्लिम समाज को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। हाईकोर्ट ने अपने आदेश में स्पष्ट किया है कि यदि कसाईखाना सभी पर्यावरणीय, स्वच्छता और कानूनी मानकों पर खरा उतरता है, तो उसके संचालन पर विचार किया जा सकता है।

गौरतलब है कि 2018 में हाईकोर्ट ने अवैध कसाईखानों पर सख्त रुख अपनाते हुए राज्य सरकार को सभी अनधिकृत स्लॉटर हाउस बंद करने के निर्देश दिए थे। साथ ही खुले में या फिर सार्वजनिक स्थानों पर पशु वध पर भी रोक लगाई थी। इस नई सुनवाई के बाद अब प्रशासन पर जिम्मेदारी है कि वह धार्मिक आस्थाओं और कानूनी दायरे के बीच संतुलन बनाते हुए निष्पक्ष निर्णय ले। यह मामला ना केवल धार्मिक अधिकारों से जुड़ा हुआ है, बल्कि स्वच्छता, कानून और सामाजिक समरसता का भी एक महत्वपूर्ण मुद्दा बना है।
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