टिहरी और नरेन्द्र नगर के कोषागार विभाग में सरकारी धन के गबन का मामला अभी ठंडा नहीं पड़ा था कि सीमांत जनपद उत्तरकाशी में भी तीन कर्मियों द्वारा 42 लाख रुपए गबन करने का मामला सामने आ रही है। उत्तरकाशी कोषागार के सहायक कोषाधिकारी ने तीन लोगों के खिलाफ नगर कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया, जिस पर पुलिस ने जांच शुरू कर दी है। हांलांकि मामला दर्ज होने के बाद तीनों आरोपियों ने गबन की राशि जमा कर दी है।
उत्तरकाशी कोषागार में तीन कर्मियों ने किया गबन
बता दें कि हाल में ही टिहरी और नरेन्द्र नगर के कोषागार में करोड़ों के गबन का मामला सामने आया था, जिसके बाद शासन ने दिसंबर माह में सभी कोषागार में जांच के आदेश दिए थे, जिसके बाद उत्तरकाशी कोषागार में गबन का मामला सामने आया। कोषागार में साल 2017 से सितंबर 2021 तक कुछ मृतक पेंशनरों की पेंशन निकाली गई, जिसके लिए कोषागार के कंप्यूटरों में गड़बड़ी की गई। जिसमें तीन कर्मियों ने पेंशन की धनराशि अपने खातों में ट्रांसफर कर दी। हालांकि बताया जा रहा है कि मामला पकड़ में आने पर तीनों कर्मों ने करीब 20 लाख की धनराशि जमा कर दी है, लेकिन वरिष्ठ कोषाधिकारी बालकराम बासवान ने तीनों कर्मियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने के निर्देश दिए हैं।
इस मामले में कोतवाल राजीव रौथाण ने बताया कि सहायक कोषाधिकारी बृजेंद्र लाल ने तीन कर्मचारियों के खिलाफ सरकारी धन का गबन करने के संबंध में लिखित तहरीर दी। जिसके आधार पर धर्मेंद्र शाह उप कोषागार डूड़ा, महावीर नेगी सहायक लेखाकार और आरती नेगी पूर्व पीआरडी कार्मिक सदर कोषागार के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। कोतवाल के अनुसार महावीर नेगी के के खाते में 5.80 लाख, धर्मेंद्र शाह के खाते में 12.70 लाख तथा आरती के खाते में करीब 25 लाख रुपए जमा हुए थे।
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