रुद्रप्रयाग (उत्तराखंड): आमतौर पर ambulance की आवाज सुनकर लोग रास्ता छोड़ देते हैं, लेकिन अगर वही ambulance मस्ती के लिए इस्तेमाल हो तो? क्या होगा? उत्तराखंड के रुद्रप्रयाग में कुछ ऐसा ही मामला सामने आया है, जिसने पुलिस से लेकर आम लोगों को भी चौंका दिया है। बीते दिन रुद्रप्रयाग की सड़कों पर एक ambulance काफी तेज रफ्तार से सायरन बजाते हुए दौड़ रही थी। पुलिस को ऐसा शक हुआ है कि कहीं इसमें कोई गड़बड़ी तो नहीं। तुरंत नाकाबंदी कर पुलिस ने ambulance को रोका और जब दरवाजा खोला गया तो अंदर का नज़ारा बिल्कुल ही हैरान करने वाला था। ambulance में कोई मरीज नहीं था, बल्कि कुछ युवक मस्ती करते हुए बैठे थे। इन युवकों ने आपातकालीन सेवा का गलत फायदा उठाया और सायरन बजाते हुए ambulance को तेज़ी से दौड़ा रहे थे। पूछताछ में युवकों ने माना कि वे घूमने निकले थे और ambulance का गलत इस्तेमाल कर रहे थे।

पुलिस ने तुरंत कार्रवाई करते हुए ambulance चालक और युवकों को हिरासत में ले लिया। और उन्हें चेतावनी भी दी गई कि आगे इस तरह की हरकत करने पर सख्त कार्रवाई की बात कही गई। पुलिस अधीक्षक ने बताया कि नकली या गलत तरीके से ambulance का उपयोग करना गंभीर अपराध होता है और यह लोगों की जान के साथ खिलवाड़ करना भी है। इस घटना ने प्रशासन को भी चौकन्ना कर दिया है। अब पुलिस को ambulance की गतिविधियों पर नजर रखने के लिए सख्त निर्देश जारी किए गए हैं। अगर कोई वाहन ambulance पर नियमों का उल्लंघन करता है, तो उसके खिलाफ कठोर कानूनी कार्रवाई होगी। यह घटना एक बड़ा सबक है कि सार्वजनिक संसाधन और आपातकालीन सेवाओं का मज़ाक उड़ाना न केवल गैरकानूनी होता है, बल्कि नैतिक रूप से भी गलत होता है। नकली ambulance का इस्तेमाल कर लोग न केवल कानून को तोड़ते हैं, बल्कि किसी जरूरतमंद की जान भी जोखिम में डाल देते हैं।
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